हमारी वेबसाइट “Science ka Mahakumbh” में आपका स्वागत है। यहां पर बबीता पटेल जी की कविता, कहानी प्रकाशित किया जाएगा। आप सभी इसका आनंद लीजियेगा।
होली का दिन आया है (कविता) – BABITA PATEL
इनका नाम बबीता पटेल है। ये रायगढ़ छत्तीसगढ़ की रहने वाली हैं। इनके पिता श्री परमानंद पटेल और माता श्रीमती मोंगरा पटेल हैं। इनके प्रेरणा इनके माता पिता,सभी गुरु जन व इनके सभी चाचा (पिता जी के छोटे भाई) हैं। विशेषकर ये खीरसागर पटेल,जीवन पटेल व शिवराज पटेल जी से प्रेरित हुई है । यह भी कक्षा नौवीं की विद्यार्थी है। ये वर्तमान में शासकीय हाई स्कूल तेलीपाली में शिक्षा ग्रहण कर रही है । ये स्वतंत्र लेखिका हैं। इनको कविता, शायरी, लेख आदि लिखना पसंद हैं इनकी रचनाएँ संस्कार न्यूज़ में प्रकाशित होती रहती हैं। इन्होंने लिखना 18-07-2021 से प्रारंभ किया है। इन्होंने सबसे पहले मेरे पापा नामक कविता लिखी । उसके पश्चात एक स्त्री क्या चाहती है ,बचपन की यादें, आदि 30+ कविताएं लिख चुकी हैं। 2022 में इनकी solo-book “मेरी कलम मेरे मन की आवाज” भी प्रकाशित हो चुकी है ।
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आया है होली का दिन आया है,
संग अपने रंग और खुशियाँ लाया है।
बुरा मानो होली है कह कर,
दो लोगों की बीच की दरार मिट जाती है।
दुश्मन भी दोस्त बन जाते,
रंगों के संग खुशियाँ आती है।
लाल रंग लगे प्रतीक प्रेम का,
लगे हरा ये सुंदरता प्रकृति की।
नीले रंग से याद आता विशाल आकाश,
रंग ये भरते जिंदगी में आशा ,
प्रेम ,श्रद्धा, और विश्वास।
लोगों की बेरंग जिंदगीं में,
खुशियों के रंग छा जाते हैं।
अपने तो अपने दुश्मन भी ,
रंग लगाकर गिला सिकवा मिटा जाते हैं।
आया है फिर एक बार होली का त्यौहार,
भर दे खुशियों और रंगो से आपका संसार।।
रंगों में आप सब रंग जाये,
हमारी तरफ से आपको ,
और आपके पूरे परिवार को होली की शुभकामनाएँ।
स्वरचित- बबीता पटेल
(रायगढ़ ) छत्तीसगढ़
ई-मेल- [email protected]