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भारत के स्वतंत्रता सेनानियों के नाम
सुभाष चंद्र बोस
सुभाष चंद्र बोस का जन्म 23 जनवरी 1897 ओडिशा के कुट्टक गांव में हुआ था। सुभाष चंद्र बोस ने नारा दिया था ‘तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा’ और ‘जय हिंद’। सुभाष चन्द्र बोस ने सिंगापुर रेडियो से एक संदेश प्रसारित करते हुए महात्मा गांधी को ‘देश का पिता’ (राष्ट्रपिता) कहकर संबोधित किया था । द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान उन्होंने अंग्रेजों के खिलाफ लड़ने के लिए जापान के सहयोग से ‘आजाद हिन्द फौज’ का गठन किया था।
चंद्रशेखर सीताराम तिवारी (चन्द्रशेखर आजाद)
चन्द्रशेखर आजाद का जन्म मध्य प्रदेश मे अलीराजपुर जिला के भाबरा गाँव 23 जुलाई सन् 1906 में एक ब्राह्मण परिवार में को हुआ था। चन्द्रशेखर आज़ाद ने नारा दिया था – “में आजाद हूँ, आजाद रहूँगा और आजाद ही मरूंगा”। चंद्रशेखर ने रामप्रसाद बिस्मिल के नेतृत्व में काकोरी कांड में पहली बार सक्रिय रूप से भाग लिया। चंद्रशेखर ने 1928 में लाहौर में ब्रिटिश पुलिस ऑफिसर एसपी सॉन्डर्स को गोली मारकर लाला लाजपत राय की मौत का बदला लिया। 27 फ़रवरी, 1931 को अल्फ़्रेड पार्क में चन्द्रशेखर आज़ाद शहीद हुए थे।
भगत सिंह
भगत सिंह का जन्म 27 सितंबर 1907 ई० को एक सिख परिवार में हुआ था। भगत सिंह तथा बटुकेश्वर दत्त ने केन्द्रीय असेम्बली में बम फेंका था। 23 मार्च 1931 को भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को फाँसी दी गई थी। 23 मार्च को शहीद दिवस के रूप में मनाया जाता है। फाँसी पर जाते समय वे तीनों मस्ती से गा रहे थे –
मेरा रँग दे बसन्ती चोला, मेरा रँग दे।
मेरा रँग दे बसन्ती चोला। माय रँग दे बसन्ती चोला॥
महात्मा गांधी
मोहनदास करमचन्द गांधी का जन्म 2 अक्टूबर 1869 को हुआ था। उन्होंने अपने जीवन का 6 साल 5 महीने जेल में बिताए थे। अपने आंदोलन के दौरान महात्मा गांधी 13 बार गिरफ्तार हुए। गोपाल कृष्ण गोखले महात्मा गांधी के राजनीतिक गुरु थे। महात्मा गांधी के प्रमुख आंदोलन चंपारण, खेड़ा, असहयोग आन्दोलन, स्वराज, नमक सत्याग्रह, भारत छोड़ो आन्दोलन थे। 30 जनवरी, 1948 को नई दिल्ली में नाथुरम गोडसे ने उनकी हत्या कर दी थी।
मंगल पांडे
मंगल पाण्डेय का जन्म भारत में उत्तरप्रदेश के बलिया जिले के नगवा नामक गांव में एक “ब्राह्मण” परिवार में हुआ था। मंगल पांडे द्वारा गाय की चर्बी मिले कारतूस को मुँह से काटने से मना कर दिया था,फलस्वरूप उन्हे गिरफ्तार कर लिया गया। उन्हें 18 अप्रैल 1857 को फांसी देनी तय की गई थी । परंतु अंग्रेजों को डर था कि देशभर में विद्रोह हो सकता है। इसलिए तय तारीख से 10 दिन पहले ही उन्हें 8 अप्रैल 1857 को फांसी दे दी गई | मंगल पांडे ने नारा दिया था “मारो फिरंगी को”। 1857 के स्वतंत्रता संघर्ष में शहीद होने वाला पहला व्यक्ति मंगल पांडे को माना जाता है।
भीकाईजी कामा
भीकाईजी रुस्तम कामा का जन्म 24 सितंबर 1861 को कलकत्ता में हुआ था। इन्हें मैडम कामा के नाम से भी जाना जाता है। इन्होंने लन्दन, जर्मनी तथा अमेरिका का भ्रमण कर भारत की स्वतंत्रता के पक्ष में माहौल बनाया। इन्होंने 22 अगस्त 1907 में हुई सातवीं अंतर्राष्ट्रीय कांग्रेस में भारत का प्रथम तिरंगा राष्ट्रध्वज फहराया था। उनके द्वारा पेरिस से प्रकाशित ‘वन्देमातरम्’ पत्र प्रवासी भारतीयों में काफी लोकप्रिय हुआ ।
बाल गंगाधर तिलक
बाल गंगाधर तिलक का जन्म 23 जुलाई 1856 को हुआ था। महात्मा गांधी ने उन्हें “आधुनिक भारत का निर्माता” कहा था। उन्होंने “स्वराज मेरा जन्मसिद्ध अधिकार है और मैं इसे लेकर रहूँगा!” का नारा दिया था। तिलक ने स्वदेशी आंदोलन और बहिष्कार आंदोलन को प्रोत्साहित किया। तिलक ने 1903 में ” द आर्कटिक होम इन द वेद ” नामक पुस्तक लिखी थी । 1 अगस्त, 1920 को मुंबई में बाल गंगाधर तिलक की मृत्यु हुई थी।
उधम सिंह
उधम सिंह का जन्म 26 दिसम्बर 1899 को पंजाब प्रांत के संगरूर जिले के सुनाम गाँव में एक सिख परिवार में हुआ था। उनका नाम राम मोहम्मद सिंह आज़ाद भी था। उन्होंने जलियांवाला बाग कांड के समय पंजाब के गर्वनर जनरल रहे माइकल ओ’ ड्वायर को लन्दन में जाकर गोली मारी थी। 31 जुलाई 1940 को उन्हें पेंटनविले जेल में फांसी दे दी गई।
लाल बहादुर शास्त्री
लाल बहादुर शास्त्री का जन्म 2 अक्टूबर 1904 को मुगलसराय में हुआ था। उन्होंने ” जय जवान, जय किसान ” का नारा दिया था। 1940 में, स्वतंत्रता आंदोलन के लिए व्यक्तिगत सत्याग्रह समर्थन की पेशकश के लिए, उन्हें एक वर्ष के लिए जेल भेज दिया गया था ।11 जनवरी 1966 को इनकी मृत्यु हुई थी।
लक्ष्मी सहगल
लक्ष्मी सहगल जन्म 24 अक्टूबर 1914 में हुआ था। वे आजाद हिन्द फौज की अधिकारी तथा आजाद हिन्द सरकार में महिला मामलों की मंत्री थीं. लक्ष्मी आजाद हिन्द फौज की ‘रानी लक्ष्मी रेजिमेन्ट’ की कमाण्डर थीं। दूसरे विश्व युद्ध के दौरान जब जापानी सेना ने सिंगापुर में ब्रिटिश सेना पर हमला किया तो लक्ष्मी सहगल सुभाष चंद्र बोस की आज़ाद हिंद फ़ौज में शामिल हो गई थी। आज़ाद हिंद फ़ौज की रानी झांसी रेजिमेंट में लक्ष्मी सहगल बहुत सक्रिय रहीं।
खुदीराम बोस
खुदीराम बोस का जन्म 3 दिसंबर 1889 को बंगाल के मेदिनीपुर जिले के केशपुर पुलिस स्टेशन के अंतर्गत स्थित छोटे से गांव मोहोबनी में एक कायस्थ परिवार में हुआ था । खुदीराम बोस का नारा ब्रिटिश साम्राज्यवाद मुर्दाबाद का नारा लगाया था। 11 अगस्त 1908 को फांसी दे दी गई थी उस समय उनकी उम्र 18 साल थी। सबसे कम उम्र में फांसी की सजा पाने वाले क्रांतिकारी खुदीराम बोस थे।
सरोजिनी नायडू
सरोजिनी नायडू 13 फरवरी 1879 का जन्म भारत के हैदराबाद नगर में हुआ था। सविनय अवज्ञा आंदोलन के दौरान महात्मा गांधी के साथ जेल भी भेजी गई थीं। 1942 में भारत छोड़ो आंदोलन में इन्हें गिरफ्तार किया गया था। ये आजाद भारत की उत्तर प्रदेश की पहली महिला गवर्नर भी बनीं । सरोजिनी नायडू भारत कोकिला के नाम से जाना जाता है। 2 मार्च 1949 को इनकी मृत्यु हुई थी।
जवाहरलाल नेहरू
पंडित जवाहरलाल नेहरू का जन्म 14 नवंबर 1889 को हुआ था। जवाहर लाल नेहरू लाल किले पर तिरंगा फहराने वाले पहले भारत के प्रथम प्रधानमन्त्री थे। महात्मा गांधी को ‘राष्ट्रपिता’ की उपाधि देने वाले जवाहरलाल नेहरू पहले व्यक्ति थे। उन्होंने भारतीय स्वतंत्रता के लिए 35 साल तक लड़ाई लड़ी और तकरीबन 9 साल जेल भी गए। 15 अगस्त, 1947 से 27 मई, 1964 तक पंडित जवाहरलाल नेहरू भारत के पहले प्रधान मंत्री बने थे।
वीरांगना महारानी लक्ष्मीबाई
रानी लक्ष्मीबाई का जन्म 19 नवम्बर 1828 को बनारस में हुआ था। इनके पिता का नाम मोरोपंत तांबे और माता का नाम भागीरथी बाई था।इनके बचपन का नाम मणिकर्णिका था। इन्हें झलकारी बाई भी कहते थे और इन्हें प्यार से मनु बुलाते थे। इनका विवाह झांसी नरेश गंगाधर राव नेवालकर के साथ हुआ। इनकी दो सन्ताने थी। 1.दामोदर राव और 2.आनन्द राव (गोद लिया)। इन्होंने अपनी मातृभूमि को ब्रिटिश शासन से आजाद कराने के लिए अनेकों संघर्ष किये। इन्होंने अंग्रेज़ो से रणभूमि में युद्ध भी किया और आखरी सांस तक आजादी के लिए लड़ती रही। महारानी लक्ष्मीबाई 29 वर्ष की आयु में 18 जून 1858 को वीरगति को प्राप्त हो गई।
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